दिलेर समाचार, केंद्र ने राज्यों को ई-रिक्शा के पंजीकरण से संबंधित मुद्दों के तत्काल समाधान करने का निर्देश दिया है. उसका कहना है कि यह न केवल लोगों को परिवहन सुविधा देती है बल्कि प्रदूषण मुक्त भी है. सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी की अध्यक्षता में उच्च स्तरीय बैठक के बाद यह निर्देश जारी किया गया. बैठक में कई राज्यों के परिवहन आयुक्तों के अलावा ई-रिक्शा परामर्श समिति के सदस्य और विनिर्माता शामिल हुए.
पिछले वर्ष केंद्र ने सड़कों पर इलेक्ट्रिक रिक्शा के चलने को लेकर परमिट की आवश्यकता से छूट देकर उनके रास्ते में आने वाली कानूनी बाधाओं को दूर कर दिया था. गडकरी ने बैठक के बाद कहा, ‘‘ई-रिक्शा प्रदूषण मुक्त, लागत प्रभावी और गरीबों के लिये लाभकारी हैं. इससे गरीबों को एक तरफ जहां रोजगार मिल रहा है वहीं अंतिम छोर तक पहुंचाने की परिवहन सुविधा मिल रही है. यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि कुछ राज्यों में पंजीकरण आदि से जुड़े मुद्दे हैं. हमने राज्यों को इन मुद्दों के झारखंड के मुख्यमंत्री रघुवर दास ने देश की खनिज संपदा में राज्य की 40 प्रतिशत हिस्सेदारी होने का दावा करते हुए कहा कि राज्य निवेश के लिए आदर्श स्थान है. झारखंड माइनिंग शो 2017 के पहले खनन एवं खनिज सम्मेलन के उद्घाटन सत्र को संबोधित करते हुए दास ने कहा कि राज्य का खनिज भंडार इसे आगे बढ़ने और देश के विकास का इंजन बनने का अवसर मुहैया कराता है.
उन्होंने कहा, ‘‘मैं नये कारोबारियों तथा पहले से मौजूद उद्योग घरानों को राज्य द्वारा दिये जा रहे अवसरों का लाभ उठाने का निमंत्रण देता हूं.’’ दास ने इस मौके पर कहा कि झारखंड देश में आर्थिक वृद्धि के संदर्भ में शीर्ष राज्यों में शामिल है. उन्होंने आगे कहा कि 2015-16 में देश का सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) 7.6 प्रतिशत की दर से वृद्धि कर रहा था, जबकि राज्य की जीडीपी ने 14.6 प्रतिशत की दर से वृद्धि की.
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