दिलेर समाचार, स्वच्छ पानी के लिए अपने घर में RO फिल्टर के यह तथ्य आपको पता होना चाहिए। ब्यूरो ऑफ इंडियन स्टैंडर्ड्स (BIS) के मुताबिक किसी भी कंपनी को ISI सर्टिफिकेट जारी नहीं किया गया है अभी तक RO फिल्टर के लिए।
BIS ने कहा है RTI के जवाब में कि स्टैंडर्ड्स तय किए हुए हैं लाइसेंस जारी करने के लिए। अल्ट्रावायलट वॉटर डिसइंफेक्शन सिस्टम के लिए लेकिन अभी तक किसी घरेलू और पॉइंट टू यूज RO फिल्टर को ISI सर्टिफिकेट जारी नहीं किया गया है। साथ ही किसी भी टेक्नॉलजी के लिए मिले लाइसेंस के एक्सपायर होने के बाद ISI मार्क के इस्तेमाल की इजाजत नहीं है।
पानी की बर्बादी और ISI सर्टिफिकेट की गैरमौजूदगी के आधार पर RO बनाने और बिक्री पर रोक लगाने की मांग लेकर NGT पहुंची एनजीओ फ्रेंड्स के याचिकाकर्ता के मुताबिक पिछले एक दशक में RO वॉटर फिल्टर्स के बिजनस में काफी बढ़ोतरी देखने को मिली है। इस तरह के बिजनस से जुड़े लोग अपने प्रॉडक्ट के बारे में झूठे दावे करते हैं। उनकी वजह से लोगों में यह भी भ्रम पैदा हो गया है कि घरों में सप्लाई किया जा रहा पानी पीने के लायक नहीं है। हालांकि अथॉरिटी ने यह भी साफ कर दिया कि RO के लिए BIS का सर्टिफिकेट लेना फिलहाल जरूरी नहीं है।
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