दिलेर समाचार, मुंबई। देश के प्रगतिशील राज्यों की सूची में शामिल महाराष्ट्र में भी महिलाएं और बच्चे महफूज़ नहीं हैं राज्य में महिलाओं और बच्चों के खिलाफ अपराध के मामलों में इज़ाफा हुआ है और यही वजह है कि राज्य की कानून व्यवस्था पर गंभीर सवाल उठ रहे हैं. मुंबई में नाबालिग लड़कियों के अपहरण के मामले पिछले पांच साल में 15 गुना बढ़ गए हैं. आरटीआई कार्यकर्ता शकील शेख़ को मिली जानकारी के मुताबिक मुंबई पुलिस ने साल 2013 में नाबालिग लड़कियों के अपहरण के 92 मामले दर्ज किये ये संख्या 2017 में बढ़कर में 1368 हो गई. अब भी शहर से कुल 133 लड़कियां लापता हैं. साल 2013 की तुलना में साल 2017 में 15 सौ प्रतिशत का इजाफा हुआ. महाराष्ट्र में महिलाओं और बच्चों के खिलाफ बढ़ते अपराध के चलते राज्य सरकार पर भी कई सवाल उठ रहे हैं.
साल 2014 में महाराष्ट्र में महिलाओं के खिलाफ अपराधों के कुल 26818 मामले दर्ज हुए.
साल 2015 में बढ़कर 31126 और साल 2016 में और भी बढ़ोत्तरी हुई.
महिलाओं के खिलाफ अपराधों के कुल 31388 मामले दर्ज हुये.
नाबालिगों के साथ अपराध
राज्य में नाबालिगों के खिलाफ भी अपराध बढ़े हैं. एनसीआरबी रिपोर्ट के मुताबिक साल 2014 में राज्य में नाबालिगों के खिलाफ़ अपराधों के कुल 8115 मामले दर्ज हुए जो साल 2015 में बढ़कर 13921 हो गये. वहीं साल 2016 में इन आंकड़ों में और भी बढ़ोतरी हुई और नाबालिगों के साथ अपराधों के कुल 14559 मामले सामने आए. साल 2014 में राज्य में नाबालिगों के साथ रेप के कुल 1714 मामले दर्ज हुये जो साल 2015 में बढ़कर 2239 हो गये और साल 2016 में इन मामलों की संख्या 2292 हो गई.
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