दिलेर समाचार, लखनऊ. उत्तर प्रदेश में राज्यसभा चुनाव (Rajyasabha) के दौरान बसपा में बगावत सामने आने के बाद से सियासत गरमाई हुई है. दरअसल एक दिन में बसपा (BSP) के 7 विधायक बागी हो गए और समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) के खेमे में चले गए. इसके बाद बसपा बैकफुट पर आ गई लेकिन उसने अपने प्रत्याशी का नामांकन किसी तरह बचा लिया और अब उसका निर्विरोध राज्यसभा जाना तय हो गया है. उधर मामले में बसपा सुप्रीमो मायावती (BSP Supremo Mayawati) ने ऐलान किया है कि भविष्य में होने वाले किसी भी एमएलसी चुनाव में बसपा सपा प्रत्याशी के खिलाफ ही वोट करेगी, चाहे उसे बीजेपी या अन्य किसी पार्टी का ही समर्थन क्यों न करना पड़े. मायावती ने साथ ही साथ लोकसभा चुनाव के दौरान हुए सपा बसपा गठबंधन के कदम को भी बड़ी गलती कहा है.
लोकसभा चुनाव के बाद बदला सपा का रुख
मायावती ने कहा है कि हमारी पार्टी ने कम्युनल फोर्सेज से लड़ने के लिए लोकसभा चुनावों में समाजवादी पार्टी के साथ हाथ मिलाया था. लेकिन उनकी पारिवारिक कलह के चलते वो बसपा के साथ गठबंधन से ज्यादा कुछ हासिल नहीं कर सके. चुनाव के बाद उन्होंने हमें रिस्पांड करना बंद कर दिया और हमने उनसे अलग होने का फैसला किया.
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