दिलेर समाचार, 26 नवम्बर को ज़ामा मस्ज़िद में कई वर्षों से होने व ऐतिहासिक दंगल में, इस बार गुरु प्रेमनाथ अखाड़े के शिष्य सनी ने *"नोशेरवां"* बन कर इतिहास रच दिया।
इतिहास इस बात का गवाह है कि ज़ामा मस्ज़िद के दंगल से ही कई बड़े बड़े पहलवानो ने अपने कुश्ती के सफर की शुरुआत करी थी।
12 वर्ष के सनी ने भी अपनी नोशेरवां बन कर शुरुआत कर दी,
नोशेरवां का खिताब जीतने के बाद सनी ने सबसे पहले अखाड़े आकर अपने गुरु स्व. श्री प्रेमनाथ की तस्वीर पे हार पहना कर उनका आर्शीवाद लिया,
उसकी इस सफलता पर अखाड़े के कोच और सभी पहलवानो ने अखाड़े में सनी का स्वागत किया, और उसके सुनहरे भविष्य की कामना करी।
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