दिलेर समाचार, नई दिल्ली। केन्द्रीय मंत्री रामविलास पासवान ने बुधवार को आरोप लगाया कि बसपा प्रमुख मायावती का अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति(अत्याचार निवारण) अधिनियम के खिलाफ दलितों के प्रदर्शन को लेकर ‘दोहरा मापदंड़’ है. उन्होंने कहा कि मायावती ने उत्तर प्रदेश की मुख्यमंत्री रहते हुए इसके दुरूपयोग के खिलाफ आदेश दिया था. बिहार के दलित नेता पासवान ने कहा कि तत्कालीन मायावती सरकार ने अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति( अत्याचार निवारण) अधिनियम के दुरूपयोग के खिलाफ अक्टूबर 2007 में दिशा निर्देश जारी किये थे और कहा था कि पुलिस को इस कानून के तहत दर्ज की शिकायत की जांच के बाद ही मामला दर्ज करना चाहिए.
लोक जनशक्ति पार्टी के प्रमुख ने कहा,‘एक तरफ तो वह मुख्यमंत्री रहते हुए पुलिस को बिना जांच के मामला दर्ज नहीं करने के लिए कहती है तो वहीं दूसरी ओर वह उच्चतम न्यायालय के आदेश के खिलाफ प्रदर्शन करने वाले दलित युवकों का समर्थन करती है. इससे उनके दोहरे मापदंड़ों का पता चलता है. उन्हें(मायावती) ऐसा कहने का कोई नैतिक अधिकार नहीं हैं.’ उन्होंने कहा कि मायावती दलितों को ‘भ्रमित’ कर रही है और बसपा सबसे बड़ी ‘दलित विरोधी’ पार्टी है.
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