दिलेर समाचार, मुंबई. गोवा में आयोजित हुए 53वें अंतर्राष्ट्रीय फिल्म महोत्सव (International Film Festival of India) के जूरी बोर्ड ने फिल्म ‘द कश्मीर फाइल्स’ फिल्म पर अपने प्रमुख नादव लापिड की की टिप्पणियों से खुद को अलग कर लिया. बोर्ड का कहना है कि यह टिप्पणियां पूरी तरह से नादव की निजी राय है. बोर्ड उनके निजी विचारों को सहमति नहीं देता है. इजरायली फिल्ममेकर नादव कहा था कि फेस्टिवल में ‘द कश्मीर फाइल्स’ की स्क्रीनिंग के दौरान जूरी ‘परेशान और स्तब्ध’ थी. उन्होंने फिल्म को अश्लील और अनुचित बताया था. इसके बाद से उनकी आलोचना न सिर्फ भारत में बल्कि इजरायल सरकार भी कर रही है.
बता दें कि ‘द कश्मीर फाइल्स’ (The Kashmir Files) को विवेक अग्निहोत्री ने डायरेक्ट किया था और इसे लिखा भी उन्होंने ही था. फिल्म की कहानी 90 के दशक में कश्मरी घाटी से कश्मीरी पंडितों के पलायन और उग्रवाद के चरम पर आधारित है. फिल्म ने भारतीय बॉक्स ऑफिस पर रिकॉर्ड तोड़ कमाई थी. ये कमाई उस वक्त ही जब लोग लॉकडाउन पॉलिसी लागू होने की वजह से सिनेमाघरों में जाने से परहेज कर रहे थे.
‘द कश्मीर फाइल्स’ 11 मार्च को सिनेमाघरों में रिलीज हुई थी. यह इफ्फी के ‘इंडियन पनोरमा सेक्शन’ का हिस्सा थी और इसका 22 नवंबर को इसकी स्क्रीनिंग हुई थी. इसमें अभिनेता अनुपम खेर, दर्शन कुमार, मिथुन चक्रवर्ती और पल्लवी जोशी समेत अन्य प्रमुख किरदारों में हैं.
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